सुप्रीम कोर्ट में केरल श्री पद्मनाभ स्वामी मंदिर वाद : प्रशासनिक समिति और सलाहकार समिति करेगी पूजा, दर्शन तथा अन्य कार्यों का निर्वहन

Share this! (ख़बर साझा करें)
न्यूज़ डेस्क (nainilive.com) - सर्वोच्च अदालत ने पैराग्राफ 116 में दिए निम्न्लिखित निर्देश -:
प्रशासनिक समिति और सलाहकार समिति करेगी अच्छी तरह से पूजा के प्रदर्शन सहित उनके सभी कार्यों का निर्वहन करने के लिए देवता, इसके गुणों का रखरखाव, लगन से और सर्वोत्तम हित में मंदिर, और पूजा करने वालों को पर्याप्त और अपेक्षित सुविधाएं प्रदान करता है; तथा
अधिक विशेष रूप से:-


(ए) श्री पद्मनाभस्वामी को संपन्न सभी खजाने और संपत्तियों को सुरक्षित रखना

(बी) सभी किराए की संपत्तियों की रक्षा करना और उचित उपाय करना ऐसे संपत्तियों से उचित रिटर्न सुनिश्चित करना 

(सी) सुनिश्चित करें कि सभी अनुष्ठान और धार्मिक प्रथाओं को मुख्य पुजारी  के निर्देशों और मार्गदर्शन के अनुसार किया जाये । मुखिया का पदनाम मुख्य पुजारी रीति-रिवाजों के अनुसार किया जाये 
(दी ) पारा 44 के अनुसार राज्य सरकार  द्वारा व्यय की धनराशी को सूचीबद्ध तरीके से  लौटाएंगे  

(ई) मंदिर की सभी तरीके से आय तथा चढ़ावे से प्राप्त धन निम्न्लिखित तरीके से व्यय किया जायेगा  
 (i) उपासकों के लिए सुविधाओं में सुधार करना; तथा 
(ii) सलाहकार के रूप में इस तरह के धार्मिक और धर्मार्थ उद्देश्यों के लिए समिति उपयुक्त समझ सकती है; तथा 
(iii) ऐसे निवेश में जो उचित लाभ प्राप्त करेंगे और सुनिश्चित करें कि मंदिर के गुण पूरी तरह से सुरक्षित हैं और सुरक्षित। 

(च) मंदिर की सभी संपत्ति या धन को पुनर्प्राप्त करना जिसका दुरुपयोग हो रहा है या अनधिकृत कब्जे में है 
(छ) पिछले 25 वर्षों का ऑडिट प्रतिष्ठित चार्टर्ड एकाउंटेंट द्वारा किया जाएगा। सलाहकार समिति यह भी विचार करें कि आगे क्या कदम उठाए जाने की आवश्यकता है मंदिर की दोनों चल और अचल संपत्तियों का संरक्षण हो सके 

(ज) मंदिर और उसके संरक्षण के लिए उचित कदम उठाएँ, साथ ही सभी सुविधाओं के सुधार के लिए भी काम करे।
Ad
नैनी लाइव (Naini Live) के साथ सोशल मीडिया में जुड़ कर नवीन ताज़ा समाचारों को प्राप्त करें। समाचार प्राप्त करने के लिए हमसे जुड़ें -

👉 Join our WhatsApp Group

👉 Subscribe our YouTube Channel

👉 Like our Facebook Page